Friday, April 9, 2021

कोरोना, बिहू और टीकाकरण, इत्यादि

 

कोरोना, बिहू और टीकाकरण, इत्यादि

2020 के सबसे भयावह दिन थे लॉकडाउन, जिनको एक बार दुबारा सोचने पर रूह कांप उठती हैं l लाखों लोग बेघर हो गए, नौकरी छुट गयी, सड़कों पर सैकड़ों किलोमीटर चले, पुलिस के डंडे खाए l वो भयानक मंजर किसी के भी जहन से समानायतः नहीं जायेगा l अब दुबारा एक बार कोरोना ने दस्तक देनी शुरू कर दी है l प्रवासी मजदुर एक बार फिर दहशत में है, कुछ डर के मारे पलायन कर अपने गावं की और लौट रहे हैं l इस बार कोरोना का नाम सबकी जुबान पर आ रहा हैं l प्रधानमंत्री भी कह रहे है कि जरुरत पड़ने पर रात का कर्फ्यू लगाया जाना चाहिये, जिसका नाम कोरोना कर्फ्यू दिया जाना चाहिये, ताकि लोगों के मन कोरोना के प्रति पल पल डर बना रहे और वें बाहर ना निकले l इतना ही नहीं पहली बार टिका दिवस मानाने की तैयारी चल रही है l जैसे 24 अक्टूबर को विश्व पोलियो दिवस मनाया जाता है l विश्व पोलियो दिवस हर साल 24 अक्तूबर को जोनास साल्क के जन्मदिन के उपलक्ष्य में मनाया जाता है, जो अमेरिकी वायरोलॉजिस्ट थे। जिन्होंने दुनिया का पहला सुरक्षित और प्रभावी पोलियो वैक्सीन बनाने में मदद की थी। डॉक्टर जोनास साल्क ने साल 1955 में 12 अप्रैल को ही पोलियो से बचाव की दवा को सुरक्षित करार दिया था और दुनिया के सामने प्रस्तुत किया था। एक समय यह बीमारी सारी दुनिया के लिए एक बड़ी चुनौती बनी हुई थी और डॉ. साल्क ने इसके रोकथाम की दवा ईजाद करके मानव जाति को इस घातक बीमारी से लड़ने का हथियार दिया था। लेकिन 1988 में ग्लोबल पोलियो उन्मूलन पहल की स्थापना की गई l कोरोना से लड़ने के लिए भी विश्वव्यापी पहल शुरू हो गयी है l कोरोना के टिका आज पुरे भारत में लग रहा है, अब इसको दिवस और उत्सव के रूप में प्रतिबद्धता से 11 अप्रैल और 14 अप्रैल के बीच में लगाया जाएगा l सरकार ने कोरोना वायरस के खिलाफ टीकाकरण अभियान में और तेजी लाने के लिए सरकारी और निजी कार्यस्थलों में टीका लगाने की अनुमति दे दी है। राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में 100 पात्र कर्मचारियों वाले सरकारी या निजी कार्यस्थलों में 11 अप्रैल से विशेष कैंप लगाकर वैक्सीन लगाई जा सकेगी l अगर इन 4 दिनों में देश भर में 10 करोड़ आबादी को टिका लगाया जा सके, तब यह एक बड़ी उपलब्धि होगी l इधर राज्य में बिहू का त्यौहार आ रहा है, कोरोना और बिहू एक साथ कैसे चलेंगे, यह एक लाख टकिया प्रश्न है l कारण बिहू एक सामूहिक पर्व है, जिसके लिए काफी संख्या में लोग एक छत के नीचे जमा होते हैं l हालाँकि राज्य सरकार ने बिहू मानाने को लेकर कोई प्रतिबंध नहीं किया है, पर उसके लिए जरुरी सामान्य मानक संचालन प्रक्रिया कि घोषणा कर दी है, जिसके तहत रात 11 बजे तक ही सार्वजनिक मंचों पर बिहू मनाया जा सकेगा l

टिका उत्सव को कारगार बनने के लिए और अधिक प्रयास किये जाने की जरुरत है l बड़े और अधिकृत गैर सरकारी संस्थानों को इसमें बड़े तौर पर भागीदार के तौर पर शामिल किया जा सकता है, जिन्हें टीकाकरण का अनुभव पहले से ही हैं l पिछले चार दशकों से जो टीकाकरण का हमने एक आधारभूत ढांचा खड़ा किया है, उसका उपयोग दुबारा करना पड़ेगा, तभी हम कोरोना से लड़ पाएंगे  l